Antarvasna, hindi sex kahani: मैं दिल्ली का रहने वाला हूं और मेरी शादी को 4 वर्ष पूरे हो चुके हैं परंतु मैं अपनी शादीशुदा जीवन से बिल्कुल भी खुश नहीं हूँ। मैं बहुत ही ज्यादा परेशान हूं जिस तरीके से मेरे और मेरी पत्नी राधिका के बीच में कुछ भी ठीक नहीं चल रहा है। हम दोनों एक दूसरे को पहली बार एक फंक्शन में मिले थे और उस दौरान हम दोनों के बीच में काफी अच्छी बातचीत हुई और फिर मैं राधिका से प्यार करने लगा था। उसके बाद हम दोनों ने एक दूसरे को मिलने भी लगे थे हम दोनों बहुत ही ज्यादा खुश थे और मैं भी बहुत ज्यादा खुश था जिस तरीके से मैं राधिका को मिलता और हम दोनों एक दूसरे के साथ में समय बिताया करते। मैंने कभी भी यह बात नहीं सोची थी कि मैं और राधिका एक दूसरे से अलग होने की कोशिश करेंगे लेकिन अब हम दोनों एक दूसरे को डिवोर्स देने के बारे में सोचने लगे थे। मैंने राधिका से इस बारे में बात की, मैंने जब राधिका से इस बारे में बात की तो राधिका मुझे कहने लगी कि आकाश अब हम दोनों को अलग हो जाना चाहिए क्योंकि मुझे नहीं लगता कि हम दोनों के बीच कुछ भी ठीक चल रहा है।
मैंने राधिका को समझाने की कोशिश की थी और उसे कहा कि हम दोनों को एक दूसरे के लिए कुछ समय निकालना चाहिए क्या पता हम दोनों के बीच सब कुछ ठीक हो जाए। शादी होने के बाद राधिका के व्यवहार में बहुत ज्यादा बदलाव आने लगा और वह पूरी तरीके से बदलने लगी। हालांकि ऐसा कुछ भी नहीं था लेकिन अब राधिका चाहती ही नहीं थी कि वह मेरे साथ रहे। मुझे भी मालूम नहीं चला कि कब समय के साथ हम दोनों के व्यवहार में बदलाव होता चला गया और हम दोनों एक दूसरे से इतनी दूर हो गए हैं कि अब अपने पुराने रिलेशन को ठीक कर पाना शायद मुश्किल ही था। मुझे कोई भी उम्मीद नहीं थी कि हम दोनों का रिलेशन ठीक हो पाएगा इसलिए मैंने अब यह उम्मीद छोड़ कर राधिका को डिवोर्स देना ही बेहतर समझा और हम दोनों ने डिवोर्स लेने का फैसला कर लिया था। हम दोनों अलग हो चुके थे और राधिका अलग रहने लगी थी राधिका अपने पापा मम्मी के साथ रहने लगी थी और मेरे लिए भी यह बिल्कुल आसान नहीं था कि मैं राधिका को अपने दिलो दिमाग से भुला दूँ।
राधिका और मैंने साथ में काफी साल गुजारे जिससे कि मैं बहुत ही ज्यादा परेशान होने लगा था मेरे दिमाग में सिर्फ राधिका का चेहरा ही रहता। मैं जब भी काम पर होता तो मुझे हमेशा ही राधिका नजर आती थी और मुझे बहुत ही ज्यादा अच्छा लगता था जिस तरीके से मैं और राधिका साथ में होते थे लेकिन अब हम दोनों अलग हो चुके थे। हम दोनों का एक दूसरे से कोई भी संपर्क नहीं हो पा रहा था ना तो मैंने उसके बाद राधिका से कोई संपर्क करने की कोशिश की और ना ही उसने मुझसे कोई बात करने की कोशिश की। हम दोनों को एक दूसरे से पूरी तरीके से अलग हो चुके थे मैंने कभी सोचा नहीं था कि मेरे काम पर इस बात का बहुत ही ज्यादा प्रभाव पड़ेगा। मेरे काम पर इस बात से काफी प्रभाव पड़ा था समय बीता जा रहा था और सब लोग मुझे कहने लगे कि तुम शादी कर लो।
पापा मम्मी ने मुझसे कई बार कहा कि आकाश बेटा तुम शादी कर लो लेकिन मैं शादी करना नहीं चाहता था मुझे नहीं लगता था कि मैं शादी कर के खुश रहूंगा इसलिए मैं शादी के बिल्कुल भी पक्ष में नहीं था। पापा मम्मी को मैंने साफ तौर पर मना कर दिया था लेकिन वह लोग मेरी शादी करवाना ही चाहते थे और उन्होंने मेरी शादी करवाने के बारे में सोच लिया था। मैं एक दिन अपने दोस्त से मिलने के लिए उसके घर पर गया हुआ था जब मैं उससे मिलने के लिए उसके घर पर गया तो वहां पर मेरे दोस्त महेश ने मेरी मुलाकात कोमल से करवाई।
कोमल उसकी कजन है और कोमल से मिलकर मुझे अच्छा लगा कोमल से मैं पहली बार ही मिला था लेकिन उससे मिलकर मुझे ऐसा लगा जैसे कि मैं उसे पहले से ही जानता हूं हम दोनों उसके बाद भी एक दूसरे को मिले। जब हम दोनों उसके बाद एक दूसरे को मिले तो मुझे काफी ज्यादा अच्छा लगा और कोमल को भी बहुत ही अच्छा लगा हम दोनों एक दूसरे से मुलाकात करने लगे थे। हम दोनों की मुलाकात बढ़ने लगी थी और मैं इस बात से बड़ा खुश था कि हम दोनों की मुलाकात बढ़ने लगी है कहीं ना कहीं हम दोनों के बीच में बहुत ज्यादा प्यार भी बढ़ने लगा था और सब कुछ ठीक होने लगा था। मैं और कोमल एक दूसरे के साथ में बहुत ही ज्यादा खुश है और कोमल को मेरा साथ बहुत ही अच्छा लगता। जब भी हम दोनों साथ में होते तो हम दोनों बहुत ही ज्यादा खुश होते हैं। एक दिन कोमल और में कॉफी शॉप में बैठे हुए थे उस दिन मैंने सोचा कि क्यों ना मैं कोमल को अपने बारे में सब कुछ बता दूं।
कोमल को मेरी और राधिका के बारे में पता नहीं था इसलिए मैं नहीं चाहता था कि उससे मैं कुछ भी छुपाऊं। मैंने उस दिन कोमल को राधिका के बारे में बताया और उससे कहा कि मेरी शादी इससे पहले राधिका के साथ हुई थी। जब मैंने कोमल को यह बात बताई तो कोमल मुझे कहने लगी कि मुझे इससे कोई भी ऐतराज नहीं है। कोमल ने मुझे कहा कि मैं तुमसे प्यार करती हूं और मैं तुम्हारे साथ खुश हूं। कोमल बहुत ही खुले विचारों की लड़की है और मैं इस बात से बड़ा खुश था कि कोमल मेरे साथ रिलेशन में है। हम लोग साथ में ज्यादा से ज्यादा समय बिताने की कोशिश करते।
कोमल जब से मेरी जिंदगी में आई है तब से मेरी जिंदगी में दोबारा से खुशियां वापस लौटने लगी थी और मैं काफी ज्यादा खुश था कि मैं और कोमल साथ में समय बिताया करते हैं और ज्यादा से ज्यादा समय हम दोनों साथ में बताया करते। मुझे जितना समय मिल पाता उतना समय मैं कोमल के साथ बिताता हूं और मैं बहुत ही ज्यादा खुश हूं कि कोमल और मैं साथ में ज्यादा से ज्यादा समय बिताया करते हैं। हम दोनों का रिलेशन बहुत ही अच्छे से चल रहा था मेरी जिंदगी में कोमल के आने से सब कुछ ठीक होने लगा था। मेरी जिंदगी में खुशियां वापस लौटने लगी थी जिसके लिए मैं काफी परेशान था।
एक रात कोमल और मैं डिनर पर साथ में ही थे उस दिन मैंने कोमल को अपने साथ ही रूकने के लिए कहा तो कोमल भी मेरी बात मान गई क्योंकि वह मुझसे बहुत ही ज्यादा प्यार करती है। कोमल जब उस दिन मेरे साथ रुकी तो मैं उस दिन बहुत ही ज्यादा खुश था। उस रात हमारे घर पर कोई भी नहीं था पापा और मम्मी अंबाला गए हुए थे वह लोग वहां से कुछ दिनो के बाद वापस लौटने वाले थे। कोमल और मैं साथ मे थे। हम दोनों एक दूसरे के साथ बैठे हुए थे हम लोग बिस्तर पर बैठ कर एक दूसरे से बातें कर रहे थे। मै कोमल की तरफ देखे जा रहा था। मैं जब कोमल के होठों की तरफ देख रहा था तो मैंने उसके होठों को चूम लिया और उसके होठों को चूमकर मुझे बहुत ही अच्छा लग रहा था जिस तरीके से मैं उसके होठों को किस कर रहा था कोमल को बहुत ही ज्यादा मजा आने लगा था।
मुझे भी काफी ज्यादा अच्छा लग रहा था जब हम दोनों एक दूसरे के साथ किस कर रहे थे। मैंने कोमल के सामने अपने लोड को निकला तो कोमल ने उसे अपने हाथों में ले लिया और कोमल को भी बहुत ज्यादा अच्छा लगने लगा था। वह कुछ देर तक मेरे मोटे लंड को हिलाती रही मेरे लंड की गर्मी बाहर निकलने लगी थी। उसने मेरे लंड की गर्मी को शांत करने के लिए मेरे मोटे लंड को अपने मुंह में लेकर चूसना शुरु किया मुझे बहुत ही मजा आने लगा था जिस तरीके से वह मेरे लंड को चूसने लगी थी। मैंने अपने लंड को कोमल की चूत के सामने किया और अपने लंड को जब मैने उसके सामने किया तो कोमल को मजा आने लगा था। कोमल ने अपने पैरों को खोल दिया जब उसने अपने पैरों को खोला तो वह बहुत गर्म होने लगी। मैंने उसकी चूत पर लंड को लगाकर अंदर धकेलना शुरू कर दिया था मेरा मोटा लंड उसकी योनि के अंदर जाते ही उसकी योनि से खून निकलने लगा।
वह जोर से चिल्लाने लगी मेरा लंड उसकी योनि के अंदर बाहर होने लगा था मुझे मजा आने लगा था और उसे भी बहुत ही ज्यादा मजा आ रहा था जिस तरीके से वह मेरा साथ दे रही थी वह बहुत जोर से सिसकारियां ले रही थी और मैं उसे बड़ी तेज गति से धक्के दिए जा रहा था। मैं उसे जिस तेज गति से धक्के मार रहा था उस से कोमल को मजा आने लगा था और वह मुझे कहने लगी मुझे तुम बस ऐसे ही धक्के मारते जाओ। मैंने कोमल को बहुत देर तक ऐसे ही धक्के मारे। जब मुझे एहसास होने लगा कोमल की चूत में मेरा माल गिरने वाला है तो मैंने कोमल की चूत मे अपने माल को गिराकर अपने लंड को बाहर निकाला।
मैंने जब अपने लंड को बाहर निकाला तो कोमल की योनि से खून भी निकल आया था वह चिल्ला रही थी। वह मुझे कहने लगी मुझे बहुत ही ज्यादा अच्छा लग रहा है जिस तरीके से हम लोग एक दूसरे के साथ में सेक्स का मजा ले रहे थे। उस दिन हम दोनों बहुत ही ज्यादा खुश थे वह मेरी गर्मी को दोबारा से बढ़ने लगी थी। मैं कोमल की योनि के अंदर अपने मोटे लंड को घुसा दिया था।
मेरा लंड उसकी योनि में घुस गए और वह बहुत जोर से चिल्लाने लगी मैं उसे बड़ी तेजी से धक्के मारने लगा था। वह मुझे कहने लगी मुझे बहुत ही ज्यादा अच्छा लग रहा है अब मेरी और कोमल की गर्मी बहुत ज्यादा बढ़ रही थी हम दोनों बिल्कुल भी रह नहीं पा रहे थे। मैंने कोमल को बहुत देर तक चोदा। जब मेरा माल गिर गया तो मैंने कोमल को कहा हम दोनों को अब एक दूसरे के साथ शादी कर लेनी चाहिए। कोमल कहने लगी हां मुझे भी यही लग रहा है हम लोगों को शादी कर लेनी चाहिए।